...

6 views

नज़ारा
सवेरे रोशनदान से जब धूप छटकती है
एक धूँधली सी तस्वीर उभरती है
वो क्या है उसको तो मैं नही जानता
मगर मेरी आँखो में बहुत मचलती है

सपनो को उसी ने नाराज़ किया है
मेरी परछाई को मेरे खिलाफ किया है
मेरी आँखे...