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मैं एक गुलाब बन जाता हूँ
तुम्हारी यादों की बारिश होती है
तो मैं सैलाब बन जाता हूं।
चलो आज पढ़ के देखो मुझे
मैं किताब बन जाता हूं।
दूर मुझसे हो कर के तो
तुम भी आंसू बहाती होगी...
ग़म को तेरे छुपाने को तब
मैं नक़ाब बन जाता हूं।
कई रातों को तुम सोई ना होगी
याद मुझिको करते करते....
तुम्हें सुलाने की कोशिश में
मैं ख़्वाब बन जाता हूं।
मस्ती भरी निगाहों से
तेरा मुझको देखा करना...
जब भी यूं देखती हो मुझको
मैं नायाब बन जाता हूं।
तुम पास नहीं तो क्या
तुमसे कभी अलग नहीं मैं....
तुम्हारी यादों की किताब में रखा
मैं एक गुलाब बन जाता हूँ...!!!
© Mγѕτєяιουѕ WriteR
तो मैं सैलाब बन जाता हूं।
चलो आज पढ़ के देखो मुझे
मैं किताब बन जाता हूं।
दूर मुझसे हो कर के तो
तुम भी आंसू बहाती होगी...
ग़म को तेरे छुपाने को तब
मैं नक़ाब बन जाता हूं।
कई रातों को तुम सोई ना होगी
याद मुझिको करते करते....
तुम्हें सुलाने की कोशिश में
मैं ख़्वाब बन जाता हूं।
मस्ती भरी निगाहों से
तेरा मुझको देखा करना...
जब भी यूं देखती हो मुझको
मैं नायाब बन जाता हूं।
तुम पास नहीं तो क्या
तुमसे कभी अलग नहीं मैं....
तुम्हारी यादों की किताब में रखा
मैं एक गुलाब बन जाता हूँ...!!!
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