टके सेर भाजी टके सेर खाजा
(यही तो हो रहा हैं रोज़ रोज़)
कहीं पे निगाहे
कहीं पे निशाना
मेरे को पूजे सारा ज़माना
हर तरफ...
कहीं पे निगाहे
कहीं पे निशाना
मेरे को पूजे सारा ज़माना
हर तरफ...