इश्क़ ही इश्क़ नज़र आता है
तेरा नाम इश्क़ नज़र आता है ,
तू आप इश्क का मुजस्सिमा नज़र आता है।
तेरे इश्क के सुरूर में डूबी रहती हूंँ,
मुझे अपना आप इश्क़ नज़र आता है।
खो दिए हैं मायने हमारे नामों ने,
वजूद हमारा इश्क़ नज़र आता है।
तेरी जा़त मेरी जा़त तेरा मज़हब मेरा मज़हब
बेमायना हुआ जाता है,
मुझे तो सारा संसार इश्क़ नज़र आता है।
उस रब्ब ने जब हमें बनाया था,
जज़्बा ए इश्क को बड़ी मोहब्बत से सजाया था ,
रब्ब का कोई सपना जैसा सच्चा हुआ जाता है,
मुझे अपना आप इश्क़ नज़र आता है।
#Love&love #MissingYou #
AAPKI SEHZADI
© Haniya kaur
तू आप इश्क का मुजस्सिमा नज़र आता है।
तेरे इश्क के सुरूर में डूबी रहती हूंँ,
मुझे अपना आप इश्क़ नज़र आता है।
खो दिए हैं मायने हमारे नामों ने,
वजूद हमारा इश्क़ नज़र आता है।
तेरी जा़त मेरी जा़त तेरा मज़हब मेरा मज़हब
बेमायना हुआ जाता है,
मुझे तो सारा संसार इश्क़ नज़र आता है।
उस रब्ब ने जब हमें बनाया था,
जज़्बा ए इश्क को बड़ी मोहब्बत से सजाया था ,
रब्ब का कोई सपना जैसा सच्चा हुआ जाता है,
मुझे अपना आप इश्क़ नज़र आता है।
#Love&love #MissingYou #
AAPKI SEHZADI
© Haniya kaur