एक ख़त वक्त के नाम
अच्छा बुरा जो भी हुआ ,
पर सही वक़्त पर हुआ।
ऐ वक़्त तेरा शुक्रिया।
कभी मैं सम्भला
कभी डगमगाया
कभी राहो में मेरी..
घाना अंधेरा है छाया।
जैसा भी हो हाल अपना,
समय ने ही साथ दिया।
ऐ वक़्त तेरा शुक्रिया।
कोई भी हो मुश्किल
न हो कुछ भी हासिल।
कोई भी न बढ़ाया...
पर सही वक़्त पर हुआ।
ऐ वक़्त तेरा शुक्रिया।
कभी मैं सम्भला
कभी डगमगाया
कभी राहो में मेरी..
घाना अंधेरा है छाया।
जैसा भी हो हाल अपना,
समय ने ही साथ दिया।
ऐ वक़्त तेरा शुक्रिया।
कोई भी हो मुश्किल
न हो कुछ भी हासिल।
कोई भी न बढ़ाया...