अजनबी
कुछ हम मुस्करा दे
कुछ तुम मुस्करा दो
झरने लगते हैं फूल
साँसों में मिश्री घुलने दो
जलती धूप में अमलतास
की तरह सुर्ख और लाल
मीठी सी...
कुछ तुम मुस्करा दो
झरने लगते हैं फूल
साँसों में मिश्री घुलने दो
जलती धूप में अमलतास
की तरह सुर्ख और लाल
मीठी सी...