भोर गीत
भोर हुई सूरज जागा
अंधियारा भी दूर भागा
तारों ने है लपेटी चटाई
सूरज ने भी ली अंगड़ाई
दूर हुई स्याही आकाश की
बिखरी किरणों की लाली
पंख हैं ...
अंधियारा भी दूर भागा
तारों ने है लपेटी चटाई
सूरज ने भी ली अंगड़ाई
दूर हुई स्याही आकाश की
बिखरी किरणों की लाली
पंख हैं ...