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कुछ पंक्तियाँ शिवमंगल `सुमन ' जी की
#स्वतंत्रता_प्रयास
शिवमंगल सिंह ` सुमन ' जी की बहुत सुंदर
कविता है जिसकी कुछ पंक्तियाँ मुझे याद आ रही हैं वो ये हैं...
पथ भूल ना जाना पथिक कहीं!
पथ में कांटे तो होगे ही...
सुन्दर सरिता, सर होंगे ;
सुन्दर वन, वापी होंगे..
सुन्दर -सुन्दर निरझर होंगे
सुंदरता की मृगतर्ष्णा में...
पथ भूल ना जाना पथिक कहीं!
© श्वेता श्रीवास
शिवमंगल सिंह ` सुमन ' जी की बहुत सुंदर
कविता है जिसकी कुछ पंक्तियाँ मुझे याद आ रही हैं वो ये हैं...
पथ भूल ना जाना पथिक कहीं!
पथ में कांटे तो होगे ही...
सुन्दर सरिता, सर होंगे ;
सुन्दर वन, वापी होंगे..
सुन्दर -सुन्दर निरझर होंगे
सुंदरता की मृगतर्ष्णा में...
पथ भूल ना जाना पथिक कहीं!
© श्वेता श्रीवास
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