. "गुरु में शिव का स्वरूप"
हे नाथ! शब्द नहीं हैं पास, कैसे करू धन्यवाद,
जो अपना दूत भेजा, कर दिया जीवन निहाल।
अहोभाग्य हमारा, जो आपने यह सानिध्य दिलाया,
"प्रेमानंद" जैसे गुरुवर से साक्षात्कार कराया।
गुरु बिना न भगवान मिले, यह सत्य समझाया,
गुरु में ही...
जो अपना दूत भेजा, कर दिया जीवन निहाल।
अहोभाग्य हमारा, जो आपने यह सानिध्य दिलाया,
"प्रेमानंद" जैसे गुरुवर से साक्षात्कार कराया।
गुरु बिना न भगवान मिले, यह सत्य समझाया,
गुरु में ही...