कुछ कमी सी हैं...
आज चांद की रोशनी दबीं दबीं सी हैं
शायद मेरी तरह उसकी भी आँख में नमी सी हैं
सब कुछ मिला मुझे तेरे शहर में मेरे यार
फिर भी ना जाने किसी बात की कमी सी हैं
वो जो कहते हैं कि प्यार नहीं होने देंगे
हमारे इरादो...
शायद मेरी तरह उसकी भी आँख में नमी सी हैं
सब कुछ मिला मुझे तेरे शहर में मेरे यार
फिर भी ना जाने किसी बात की कमी सी हैं
वो जो कहते हैं कि प्यार नहीं होने देंगे
हमारे इरादो...