#भ्रष्टाचार #हौसला #मजबुरी #जिंदगी
ऐसी भी क्या मजबूरी यारों ! जीवन में,
'काल' को भी 'लाल' जब कहना पडे !?! १
ज्यादा हुआ तो सर कलम होगा तन से
'सांप' को भी क्यों 'बाप' कहना पडे !?! २
तडप तडपकर जीना भी क्या जीना है यारों !
जब 'मजबुरी' से ही क्यो 'मजदूरी' करना पडे !?! ३
जमाने ने कई तिलस्मी...
'काल' को भी 'लाल' जब कहना पडे !?! १
ज्यादा हुआ तो सर कलम होगा तन से
'सांप' को भी क्यों 'बाप' कहना पडे !?! २
तडप तडपकर जीना भी क्या जीना है यारों !
जब 'मजबुरी' से ही क्यो 'मजदूरी' करना पडे !?! ३
जमाने ने कई तिलस्मी...