...

90 views

प्रेम❤
किसी को पसंद करना वो नहीं है प्रेम,
किसी का साथ देना है प्रेम,
बातें बनाना नही है प्रेम,
जो सारी बातें भुला दे वो है प्रेम,
किसी के साथ तुलना नहीं है प्रेम,
अवगुण होते हुए भी न दिखे वह है प्रेम,
दुनिया के सामने दिखावा करना नहीं है प्रेम,
दुनिया सामने होते हुए भी न दिखे वो है प्रेम,
ब्रह्माण्ड की तरह असीमित है प्रेम,
सागर की तरह गहरा है प्रेम,
नदी की तरह सदा ही बहनेवाला बहाव है प्रेम,
सुगंधित वायु की तरह सुगंधी अनुभव है प्रेम,
एकबार मिली जिंदगी को दो बार जीना है प्रेम,
पथ्थर को भी पिघला दे वह है प्रेम,
हीरा भी फिका लगे वो है प्रेम,
सोचकर किया जाए वो नहीं है प्रेम,
जब सारे विचार ही खत्म हो जाए वह है प्रेम,
ईश्वर की दी गई अमुल्य भेट है प्रेम,
मुफ्त में बांट सके वह है प्रेम.


© the mystery man