कभी जब याद आ जाते।
कभी जब याद आ जाते।
नयन को घेर लेते घन,
स्वयं में रह न पाता मन
लहर से मूक अधरों पर
व्यथा बनती मधुर सिहरन
न दुख मिलता न सुख मिलता
न जाने प्राण क्या पाते!
तुम्हारा प्यार बन...
नयन को घेर लेते घन,
स्वयं में रह न पाता मन
लहर से मूक अधरों पर
व्यथा बनती मधुर सिहरन
न दुख मिलता न सुख मिलता
न जाने प्राण क्या पाते!
तुम्हारा प्यार बन...