जिंदगी में गम के साथ
जिंदगी में गम के साथ
जीना कौन चाहता है
मुस्कुरा कर किसी का
दिल दुखाना कौन चाहता है
यह तो वक्त की धारा लाकर खड़ा कर देता है उस मोड़ पर
नहीं तो भला प्रिय का साथ छोड़कर जाना कौन चाहता है
दिल मे बसी तस्वीर पर
लेप चढ़ाना कौन चाहता है
साथी के साथ छोड़कर
जाना कौन चाहता है
वह तो स्थिति ही खड़ी हो जाती है ऐसी
नहीं तो गले में पट्टे बांधकर जीना कौन चाहता है
समय की दुश्वरी है
नहीं तो उंगली पर नाचना कौन चाहता है
भाला कृपाल तलवार से
दुश्मनी मोल लेना कौन चाहता है
शिकस्त के बंधन में बंधे हैं कुछ इस तरह
नहीं तो मर्यादा से आगे जाना कौन चाहता है
...
जीना कौन चाहता है
मुस्कुरा कर किसी का
दिल दुखाना कौन चाहता है
यह तो वक्त की धारा लाकर खड़ा कर देता है उस मोड़ पर
नहीं तो भला प्रिय का साथ छोड़कर जाना कौन चाहता है
दिल मे बसी तस्वीर पर
लेप चढ़ाना कौन चाहता है
साथी के साथ छोड़कर
जाना कौन चाहता है
वह तो स्थिति ही खड़ी हो जाती है ऐसी
नहीं तो गले में पट्टे बांधकर जीना कौन चाहता है
समय की दुश्वरी है
नहीं तो उंगली पर नाचना कौन चाहता है
भाला कृपाल तलवार से
दुश्मनी मोल लेना कौन चाहता है
शिकस्त के बंधन में बंधे हैं कुछ इस तरह
नहीं तो मर्यादा से आगे जाना कौन चाहता है
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