ओ तितली ❤🥰😍..... 🦋🦋
ए तितली तु उड़ जा इस खुले आसमान में
इन बंधनों मे क्या रक्खा है....❤
❤🦋🦋🦋🦋❤
इन उलझनों मे क्या रक्खा है..!
क्या पता फिर जनम मिले ना मिले..!!
❤🦋🦋🦋🦋❤
इन सारी सहरदो के पार❤
उस चोटी पर जहाँ जाने को तु कबसे थी बेकरार ,
हा तुझे कबसे था इंतज़ार है.....!!
❤🦋🦋🦋🦋❤
तेरा दिल कब से मचल रहा था ना..,
अब तुझे किसका इंतज़ार है....❤
❤🦋🦋🦋🦋❤
तु खुद पर यकीन कर..
तेरी प्यारी आँखों सुनहरे पंख फड़फड़ा के उड़
जा क्या पता फिर जनम मिले...
इन बंधनों मे क्या रक्खा है....❤
❤🦋🦋🦋🦋❤
इन उलझनों मे क्या रक्खा है..!
क्या पता फिर जनम मिले ना मिले..!!
❤🦋🦋🦋🦋❤
इन सारी सहरदो के पार❤
उस चोटी पर जहाँ जाने को तु कबसे थी बेकरार ,
हा तुझे कबसे था इंतज़ार है.....!!
❤🦋🦋🦋🦋❤
तेरा दिल कब से मचल रहा था ना..,
अब तुझे किसका इंतज़ार है....❤
❤🦋🦋🦋🦋❤
तु खुद पर यकीन कर..
तेरी प्यारी आँखों सुनहरे पंख फड़फड़ा के उड़
जा क्या पता फिर जनम मिले...