KK ❤️
लो इस महफिल को
चल रही थी उस ज़िंदगी को
हो कर सबसे रुक्सत
हम भी अब चले छोड़ सब को
अपने पराए...
चल रही थी उस ज़िंदगी को
हो कर सबसे रुक्सत
हम भी अब चले छोड़ सब को
अपने पराए...