दुर्गा
सिंह की सवारी जिसको भाए
आठों भुजाओं में जिसके शस्त्र समाए
महान दैत्य दुर्गम का वध कर वो दुर्गा कहलाए
रखें है मां दुर्गा ने धरती पर फिर अपने पावन कदम
अब निकलेगा बुराई और बुरे लोगों का दम
सर चढ़ बोलेगी अब लोगों की भक्ति
सावित्री लक्ष्मी और पार्वती के नाम से जन्मी
वो ही है आदिशक्ति
शांत है तो गौरी क्रोध में काली
जिसने नौ दिन युद्ध कर महिषासुर की जान निकाली
झुकाता हूं अपना सर करता हूं शत शत नमन
जय मां दुर्गा जय मां शेरावाली।