जीवन
कभी खुशी कभी गम
इन्ही के इर्द गिर्द
ज़िंदगी चक्कर काटती
रहती है हरदम।
उतार चढ़ाव
कभी मलहम कभी घाव
सब कुछ रहे पता
फिर भी ग़ज़ब लगाव।
हर दिन नये सपने
नये अरमान
रात में सो गये
कल उठेंगे भी या नहीं
इसपर जाता नहीं
कभी भी हमारा ध्यान।
हर पल बितता है
मेहनत,मशक्कत में...
इन्ही के इर्द गिर्द
ज़िंदगी चक्कर काटती
रहती है हरदम।
उतार चढ़ाव
कभी मलहम कभी घाव
सब कुछ रहे पता
फिर भी ग़ज़ब लगाव।
हर दिन नये सपने
नये अरमान
रात में सो गये
कल उठेंगे भी या नहीं
इसपर जाता नहीं
कभी भी हमारा ध्यान।
हर पल बितता है
मेहनत,मशक्कत में...