7 views
आइने का सवाल
बैठी एक रोज़ सामने
जब आइने के मै ......
अपने केशो को संवारने के
लिए ............
बोला आयना क्या? बात है
किसके लिए ये रूप ये श्रृंगार
है .......
मेरी आंखे कुछ यूं शर्म से झुक गई
मानो चांदनी रात तारो की चादर में
सिमटकर छुप गई ......💓।
© All Rights Reserved
जब आइने के मै ......
अपने केशो को संवारने के
लिए ............
बोला आयना क्या? बात है
किसके लिए ये रूप ये श्रृंगार
है .......
मेरी आंखे कुछ यूं शर्म से झुक गई
मानो चांदनी रात तारो की चादर में
सिमटकर छुप गई ......💓।
© All Rights Reserved
Related Stories
15 Likes
16
Comments
15 Likes
16
Comments