रौशनी मिल गई....!
ख़्वाहिशों को छोड़ दिया तो ख़ुशी मिल गई
इलाज-ए-दर्द-ए-दिल से नई ज़िंदगी मिल गई
किसी ने दस्तक दी मन के गहन वीराने में
रूह बहुत बेचैन थी उसे आशिक़ी मिल गई
हम मुद्दतों से ...
इलाज-ए-दर्द-ए-दिल से नई ज़िंदगी मिल गई
किसी ने दस्तक दी मन के गहन वीराने में
रूह बहुत बेचैन थी उसे आशिक़ी मिल गई
हम मुद्दतों से ...