...

6 views

रणबांकुरे
#धुल
शुर धुल से घुले मिले हैं
तभी तो रण में डटे पड़े हैं;
हुंकारों से शत्रु घीघ बने पड़े है,
रण में हारे या जीते फिर
भी जमे पड़े हैं। हौसला बहता
लहू में वो शौर्य रणभूमि में अड़े रहे है।
है कोटि कोटि प्रणाम उन्हें जो जान की
परवाह किए बगैर रण में जूझ मिटे हैं।।
© nishi bhatnagarr