...

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अलविदा
अलविदा मेरे दोस्त,
बस यही तक था सफर अपना।
खुशियों और गम की सतरंगी,
बड़ा रंगीन रहा रहगुजर अपना।।

शुक्र है तुम्हे मिल गया कोई ,
खुदा खुशियां और वफा बक्शे।
हमे भी साथी मिल जाएंगे,
दिलवालो से भरा हैं शहर अपना ।।

तुम्हारी अपनी जरूरतें होंगी ,
मेरी अपनी शिकस्तगी है।
इस उम्र में गिना गलतियां,
क्यों जाया करे सबर अपना...