दूर
#दूर
दूर फिरंगी बन कर घूम रहा कोई,
मन बंजारा कहता है ढूंढ रहा कोई;
दिल रोता है कौन जाने ये पूछ रहा कोई,
वादे नहीं होता निभाने के लिए बोल रहा कोई,
वक्त वक्त की बात है समझो तुम जरा,
थोड़ी शर्म करो साहब समझा रहा है कोई,
© villan001
दूर फिरंगी बन कर घूम रहा कोई,
मन बंजारा कहता है ढूंढ रहा कोई;
दिल रोता है कौन जाने ये पूछ रहा कोई,
वादे नहीं होता निभाने के लिए बोल रहा कोई,
वक्त वक्त की बात है समझो तुम जरा,
थोड़ी शर्म करो साहब समझा रहा है कोई,
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