कोशिश
समय का ये दरिया तो बहता ही रहता
फिर क्यों ठहरता है, मुझमें हर बार
वहीं तो आ पहुंचे, जहां से चले थे
ये रस्ता...
फिर क्यों ठहरता है, मुझमें हर बार
वहीं तो आ पहुंचे, जहां से चले थे
ये रस्ता...