...

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मेरा जीवन
जिंदगी के सादे पन्नों पर,
कुछ लिखना चाहती हूँ
माँ- पापा के आदर्शों पर,
अब चलना चाहती हूँ
जिंदगी मे कर ली बहुत सारी गलतियाँ,
अब कुछ बनना चाहती हूँ ।
जिंदगी मे राहे मिलेगी बहुत पर
अब सही रास्ता चुनना चाहती हूँ।
जिंदगी के सादे पन्नों पर कुछ,
लिखना चाहती हूँ
सिर उठा के जीते हैं बहुत लोग पर ,
अब देश का सिर गर्व से
ऊँचा करना चाहती हूँ ।
आदर्श तो बहुत हैं पर,
उन आदर्शों को अब निभाना चाहती हूँ ।
दूर से कोई देख के बोले वो उसके
पापा हैं ऐसा कुछ करना चाहती हूँ,
माँ- पापा के आदर्शों पे अब चलना
चाहती हूँ,
जिंदगी के सादे पन्नों पर,
कुछ लिखना चाहती हूँ ।।
-vartika