आज का वक़्त
नफरतो के इस दौर में हम,
चलो प्यार की फसल उगाते हैँ!
माँ बाप अब तन्हा हो रहे हैँ
बेटे भी जॉब की डोली में विदा हो जाते हैँ!
रिश्तो से मिठास गायब हो रही,
अब तो शुगरफ्री खाने के सामान भी आते हैँ
आँगन छोटा था मगर...
चलो प्यार की फसल उगाते हैँ!
माँ बाप अब तन्हा हो रहे हैँ
बेटे भी जॉब की डोली में विदा हो जाते हैँ!
रिश्तो से मिठास गायब हो रही,
अब तो शुगरफ्री खाने के सामान भी आते हैँ
आँगन छोटा था मगर...